मुंबई। देश के वरिष्ठ उद्योगपति पद्म विभूषण रतन टाटा का बुधवार रात निधन हो गया। रतन टाटा के निधन के बाद टाटा ट्रस्ट का नेतृत्व कौन करेगा? इस मुद्दे पर सस्पेंस खत्म हो गया है। दरअसल शुक्रवार को मुंबई में हुई ट्रस्ट की अहम बैठक हुई, जिसमें रतन टाटा के सौतेले भाई नोएल को टाटा ट्रस्ट का चेयरमैन चुना गया है। नोएल टाटा पहले से ही सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट और सर रतन टाटा ट्रस्ट के ट्रस्टी हैं, जिनकी टाटा समूह की होल्डिंग कंपनी टाटा संस में 66 प्रतिशत की हिस्सेदारी है। अब नोएल टाटा 100 देशों में फैले टाटा के शक्तिशाली साम्राज्य का प्रबंधन करेंगे। जिसकी कीमत 403 अरब डॉलर यानी 39 लाख करोड़ रुपये है। रतन टाटा के निधन के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नोएल टाटा से बात की और अपनी संवेदना व्यक्त की। नोएल टाटा रतन टाटा के सौतेले भाई हैं। उन्हें ट्रस्ट के कामकाज के लिए प्रमुख व्यक्तियों में से एक माना जाता था। रतन टाटा के बाद अब ट्रस्ट की होल्डिंग कंपनियों को नोएल टाटा चलाएंगे।
कौन हैं नोएल टाटा ? – रतन टाटा के पिता नवल टाटा की दो शादी हुई थी। नवल टाटा की पहली पत्नी सुनी टाटा के दो बच्चे रतन टाटा और जिमी टाटा थे। सुनी टाटा से तलाक के बाद नवल टाटा ने 1955 में दोबारा शादी की। नवल टाटा की दूसरी पत्नी सिमोन स्विट्जरलैंड की बिजनेसवुमन थीं। नोएल टाटा नवल टाटा और साइमन टाटा के बेटे हैं। नोएल टाटा अपने रणनीतिक निर्माण और समूह के दृष्टिकोण के प्रति प्रतिबद्धता के लिए जाने जाते हैं। नोएल टाटा को सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट के 11वें अध्यक्ष और सर रतन टाटा ट्रस्ट के 6वें अध्यक्ष के रूप में चुना गया है। नोएल टाटा ट्रस्ट में ट्रस्टी के रूप में भी वे शामिल थे। वह पिछले कुछ वर्षों से टाटा इंटरनेशनल लिमिटेड के अध्यक्ष भी हैं। टाटा समूह के साथ उनका चार दशकों का लंबा इतिहास है। वह ट्रेंट, वोल्टास और टाटा इन्वेस्टमेंट कॉर्पोरेशन के अध्यक्ष हैं। इतना ही नहीं, वह टाटा स्टील और टाइटन कंपनी लिमिटेड के उपाध्यक्ष के रूप में भी कार्यरत हैं। इसके अलावा उनका टाटा इकोसिस्टम से भी गहरा नाता है।