चंडीगढ़ – हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि विधायक जनता द्वारा चुने हुए जनप्रतिनिधि हैं, वे किसी भी अधिकारी से अपने क्षेत्र के विकास कार्यों के बारे व अन्य जानकारी ले सकते हैं। हालांकि, विधायक के पास एग्जिक्यूटिव पावर नहीं होती है, इसलिए वे विधिवत रूप से आधिकारिक तौर पर अधिकारियों की बैठक नहीं बुला सकते हैं। मुख्यमंत्री यहां हरियाणा विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान शून्य काल में विधायक बी बी बतरा द्वारा मुख्य सचिव कार्यालय की ओर से 25 अगस्त को जारी एक पत्र के संबंध में आपत्ति दर्ज करवाने पर जवाब दे रहे थे। मनोहर लाल ने कहा कि उक्त जारी पत्र के अनुसार विधायक किसी भी सरकारी कार्यालय में जा सकते हैं, किसी भी अधिकारी से अपने क्षेत्र के विकास कार्यों की जानकारी ले सकते हैं। हालांकि अब इस पत्र में एक वाक्य ओर जोड़ दिया जाएगा कि विधायक अधिकारियों को विश्राम गृह में बुला सकते हैं।
पीएलएफएस रिपोर्ट के अनुसार जुलाई-सितंबर 2023 में हरियाणा में 5.2 प्रतिशत रही बेरोजगारी दर – मुख्यमंत्री ने विपक्ष द्वारा प्रदेश में बेरोजगारी के दिए गए आंकड़ों पर सदन को जानकारी देते हुए बताया कि आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण (पीएलएफएस) की रिपोर्ट के अनुसार जुलाई-सितंबर, 2023 के दौरान हरियाणा की बेरोजगारी दर 5.2 प्रतिशत रही, जबकि राष्टीय स्तर पर यह आंकड़ा 6.6 प्रतिशत है। उन्होंने कहा कि पड़ोसी राज्य हिमाचल प्रदेश में इसी अवधि के दौरान बेरोजगारी दर 14.5 प्रतिशत, पंजाब में 8.8 तथा राजस्थान में 12 प्रतिशत रही। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए खुशी की बात है कि हमारी सरकार बेरोजगारी दर को कम करने में सफल रही है।