मुंबई । बॉम्बे हाई कोर्ट ने नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के मुंबई के पूर्व जोनल निदेशक समीर वानखेड़े को अगली सुनवाई तक सुरक्षा प्रदान की है, जो 8 जून को होगी। बॉम्बे हाई कोर्ट ने वानखेड़े को निर्देश दिया कि जब भी एजेंसी द्वारा आवश्यकता हो जांच के लिए सीबीआई के सामने पेश हों। हाईकोर्ट ने वानखेड़े को राहत अगली सुनवाई तक जारी रखी। इसके साथ ही बॉम्बे हाई कोर्ट ने सीबीआई को 3 जून, 2023 को अपना जवाब दाखिल करने के लिए कहा है। वानखेड़े को बॉम्बे हाई कोर्ट ने शर्तों पर सुरक्षा प्रदान कर कहा है कि वह व्हाट्सएप के माध्यम से मामले से संबंधित कुछ भी प्रकाशित नहीं करे और उन्हें कोई प्रेस बयान नहीं देना चाहिए या सबूतों के साथ छेड़छाड़ नहीं करनी चाहिए।
इसके पहले दिन में वानखेड़े ने कहा था कि उन्हें और उनकी पत्नी को पिछले चार दिनों से धमकियां मिल रही हैं। उन्होंने कहा कि मुझे और मेरी पत्नी को पिछले 4 दिनों से धमकी मिल रही है और सोशल मीडिया पर अश्लील मैसेज आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि मैं इसके बारे में आज मुंबई पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर विशेष सुरक्षा की मांग करूंगा। उन्होंने कहा कि 4 दिन से लगातार कुछ धमकियां आ रही हैं जिसकी जानकारी मैं मुंबई पुलिस आयुक्त को दूंगा। बताया जा रहा है कि कि वानखेड़े सोमवार को मुंबई के पुलिस आयुक्त विवेक फनसालकर से मुलाकात कर और उन्हें स्थिति से अवगत कराएंगे और अतिरिक्त सुरक्षा का अनुरोध कर सकते हैं।
वानखेड़े ने कथित तौर पर आरोप लगाया है कि उन्हें और उनकी पत्नी, अभिनेता क्रांति रेडकर को अश्लील संदेश और धमकियां मिल रही हैं। वानखेड़े ने बंबई उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर कर जबरन वसूली और रिश्वत के आरोपों को लेकर उनके खिलाफ दर्ज सीबीआई की प्राथमिकी रद्द करने का अनुरोध किया था। उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को वानखेड़े को राहत देते हुए सीबीआई को निर्देश दिया था कि उनके खिलाफ 22 मई तक गिरफ्तारी जैसी कोई कठोर कार्रवाई न की जाए।